Intraday Trading in Hindi: इंट्राडे ट्रेडिंग की पूरी जानकारी

Intraday Trading in Hindi

वर्तमान समय में इंट्राडे ट्रेडिंग (Intraday Trading in Hindi) करना शेयर मार्केट में काफी लोकप्रिय हो चूका है।

यदि आप भी Share Market से पैसा कमाना चाहते है तो Intra Day Trading आपके लिए एक अच्छा विकल्प हो सकता है।

लेकिन किसी भी प्रकार का निवेश (Investment) करने से पहले उस विषय की पूरी जानकारी होना बहुत आवश्यक होता है , ताकि आप सही फैसले ले सके। बिना सही जानकारी के किया गया कोई भी निवेश, घाटे का कारण बन सकता है।

अतः हम इस लेख में इंट्राडे ट्रेडिंग क्या है, कैसे काम करती है, इसमें कैसे निवेश करें, क्या फायदे और नुकसान हैं— सम्पूर्ण जानकारी हिंदी में जानेंगे ।

Table of Contents

इंट्राडे ट्रेडिंग क्या है (Intraday Trading in Hindi)

Intraday Trading जिसे Day Trading भी कहा जाता है , शेयर बाजार की एक सक्रीय और तेज Trade प्रक्रिया है। इसमें Trader किसी भी स्टॉक/वित्तीय प्रतिभूति को एक ही दिन में (Same Day) खरीदते और बेचते है।

चूकि पूरी प्रक्रिया एक ही दिन में होती है (Intra Day) , इसलिए इसे Day Trading या इंट्राडे ट्रेडिंग कहा जाता है।

  • Intra : एक लैटिन उपसर्ग है जिसका अर्थ ” के भीतर
  • Day : का अर्थ दिन होता है।

इंट्रा डे ट्रेडिंग का मुख्य उद्देश्य दिन भर में होने वाले भावो के उतार – चढाव से तेजी से लाभ कमाना होता है।

इसमें शेयर का स्वामित्व (मालिकाना हक़) ट्रेडर को नहीं मिलता है।

इंट्राडे ट्रेडिंग कैसे काम करती है ?

इंट्रा डे ट्रेडिंग में, एक ही Trade दिन के भीतर स्टॉक / वित्तीय प्रतिभूति को खरीदकर बेचना होता है। यह मुख्यतः स्टॉक के मूल्य (Price) में आने वाले उतार – चढाव पर आधारित होता है।

Intra Day Trading कैसे काम करता है इसे आप निम्न उदाहरण से समझ सकते है :

उदहारण के लिए यदि आप कोई स्टॉक सुबह १०० में Buy करते है। कुछ समय के बाद उसी स्टॉक का भाव बढ़कर 120 हो जाता है। तुरंत इसी समय पर बेचने पर आपको २० का लाभ हो जायेगा।

हालांकि यदि आपके खरीदने के बाद स्टॉक के मूल्य में गिरावट आता है तो आपको नुकसान भी हो सकता है।

इस ट्रेड में यह अनिवार्य होता है की ख़रीदे गए शेयर उसी दिन बाजार बंद होने से पहले बेच दिए जाए। यदि आप ऐसा नहीं करते है तो आपका ब्रोकर उन्हें (शेयर) स्वतः बेच सकता है। क्यूंकि इसमें खरीद और बिक्री दोनों लेनदेन एक ही दिन के भीतर पुरे करने होते है।

ब्रोकर द्वारा आपके शेयर को स्वतः बेचने की प्रक्रिया को ऑटो – स्क्वायर ऑफ कहा जाता है।

इसमें लाभ कमाने का कोई शॉर्टकट तरीका/ उपाय नहीं होता है। यह पूरी प्रक्रिया (ट्रेडिंग) आपके अनुभव, विश्लेषण और समझ पर निर्भर करता है।

इंट्राडे ट्रेडिंग कैसे शुरू करे ? ( Intraday Trading Kaise Kare in Hindi )

इंट्राडे ट्रेडिंग कैसे शुरू करे : intraday trading kaise kare in hindi​

इंट्रा डे ट्रेडिंग शुरू करने के लिए आपके पास एक Online Trading Account और एक Demat Account होना आवश्यक है।

इन Account को Open करने के लिए आपको किसी भी SEBI Registered Brokers का चयन करना होता है। जैसे – Zerodha, Upstox, Angel One या Groww।

Online Trading Account और Demat Account कैसे खोले ?

Intra Day में Account open करने की पूरी प्रक्रिया online होती है , इसे आप निम्न स्टेप्स में पूरा कर सकते है।

  • स्टॉक ब्रोकर का चयन : इसमें आप भरोसेमंद और कम से कम ब्रोकरेज शुल्क वाला ब्रोकर चुने जो SEBI में रजिस्टर्ड हो जैसे – Zerodha, Upstox, Angel One या Groww।
  • ऑनलाइन आवेदन : इसके बाद चुने गए ब्रोकर के वेबसाइट या मोबाइल ऐप पर जाकर ऑनलाइन फॉर्म भरे।
  • जरुरी दस्तावेज : इसमें आपको पैन कार्ड , आधार कार्ड , बैंक विवरण का दस्तावेज जमा करना होता है।
  • E-KYC और IPV प्रक्रिया : इसमें E-KYC के अंतर्गत आपकी पहचान और आपके पता (अड्रेस) को सत्यापित किया जाता है। जबकि IPV (इन Person Verification) में Video Call के जरिये सत्यपान किया जाता है।
  • खाता सक्रीय : सभी प्रकिया पूरी होने के बाद आपका Account ट्रेड करने के लिए रेडी हो जाता है। अब आप अपने खाते में पैसा जमा करके ट्रेडिंग शुरू कर सकते है।

इंट्राडे ट्रेडिंग के फायदे और नुकसान

Intra Day Trading में भारी लाभ के साथ-साथ उच्च जोखिम का खतरा भी बना रहता है। इसके लिए आपको कौशल , अनुभव और सख्त अनुशासन की जरुरत होती है।

यदि आप भी इंट्रा डे ट्रेड शुरू करना चाहते है तो आपको इससे होने वाले फायदे और नुकसान को अच्छे से समझना बहुत जरुरी होता है। इससे आपको इससे जुडी सही जानकारी मिलेगी और आप ट्रेड करते समय सही व सटीक निर्णय ले पाएंगे।

Intra Day Trading से होने वाले लाभ निम्न है :

  • त्वरित लाभ/हानि : चुकी इसमें सारा ट्रेड एक ही दिन में पूरा हो जाता है अतः निवेशक को उसी दिन फायदे या नुकसान का पता चल जाता है। जिससे निवेशक अगले दिन के ट्रेड के लिए अपनी रणनीति बना सकता है।
  • Leverage का लाभ : ब्रोकर्स इसमें ट्रेडर को लिवरेज का ऑप्शन भी देते है जिसमे ट्रेडर कम पूंजी में भी ज्यादा स्टॉक खरीद सकते है।
  • हाई रिटर्न की संभावना : Intraday trading में बहुत ही थोड़े टाइम में हाई प्रॉफिट पाने का मौका होता है। आप पुरे दिनभर में कई बार ट्रेड करके लाभ कमा सकते है ,जिससे आपको अच्छा रिटर्न मिलता है।
  • शार्ट सेलिंग : इसमें आप स्टॉक को शार्ट शेल करके भी अच्छा लाभ प्राप्त कर सकते है।

इंट्राडे ट्रेडिंग से होने वाले हानि :

  • उच्च अस्थिरता : इसमें स्टॉक का भाव अस्थिर (Volatility) रहता है। वह हर पल पर बदलता रहता है।
  • Time Consuming : चूकि स्टॉक का भाव हर सेकंड (पल ) बदलता रहता है ऐसे में आपको पुरे दिन लगातार शेयर मार्केट पर नजर बनाकर रखनी पड़ती है। जिससे आपको मानसिक और शारीरिक थकान होती है।
  • टेक्निकल ज्ञान : आपको शेयर मार्केट की टेक्निकल जानकारी (ग्राफ , चार्ट , इंडिकेटर आदि) की विस्तृत जानकारी होनी चाहिए। गलत तकनिकी विश्लेषण से आपको भरी नुकसान हो सकता है।
  • Transaction Cost : बार – बार ट्रेड करने से ब्रोकरेज फीस , टैक्स, स्लिपेज चार्ज बढ़ जाता है जो छोटे ट्रेडर के लिए कॉस्टली पद सकता है।

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शुरूआती लोगो के लिए इंट्राडे ट्रेडिंग टिप्स (Intraday Trading Tips in Hindi for beginners)

intra day trading tips in hindi for beginners

इंट्राडे ट्रेडिंग के जरिए कम समय में लाभ कमाया जा सकता है, लेकिन इसके लिए जरूरी है कि आपके पास सही रणनीति, बाज़ार की समझ और अनुशासन हो।

यह ट्रेडिंग तरीका उन लोगों के लिए उपयुक्त है जो रोज़ाना शेयर मार्केट में सक्रिय रहना पसंद करते हैं। अगर आप शुरुआती हैं, तो इंट्राडे ट्रेडिंग को समझने और सफल होने के लिए नीचे दिए गए इंट्राडे ट्रेडिंग टिप्स (Intraday Trading Tips in Hindi for Beginners) को ध्यान में रखें।

  1. शेयर मार्केट की समझ : शुरूआती लोगो के लिए शेयर मार्केट , उसकी कार्यप्रणाली और विभिन्न सेक्टर्स की पूरी जानकारी होना आवश्यक है। शुरुवात में कुछ समय सिर्फ शेयर मार्केट को समझने में बिताये।
  2. ट्रेडिंग प्लान बनाएं : किसी भी ट्रेड करने से पहले एक ठोस / स्पष्ट योजना जरूर बनाये। जैसे – किस स्टॉक में ट्रेड करना है , कब करना है और कितना रिस्क उठाना है।
  3. स्टॉप लॉस और टारगेट सेट करे : स्टॉप लॉस और प्रॉफिट टारगेट सेट करना Intra Day में बहुत जरुरी होता है। इससे आपको होने वाले अधिक नुकसान को रोका जा सकता है।
  4. सही समय पर एंट्री और एग्जिट : शेयर मार्केटमें समय का सबसे ज्यादा महत्व होता है क्यूंकि यहाँ हर पल स्टॉक का भाव बदलता रहता है। ऐसे में आपको हमेशा शेयर बाजार पर अपनी पैनी नजर बना कर रखनी होगी।
  5. टेक्निकल अवलोकन करे : किसी भी स्टॉक का मूल्य कब ऊपर जा रहा है और कब निचे आ रहा है ,इसका विस्तृत अवलोकन करे। इसके लिए आप ग्राफ, industry trends, तकनिकी संकेत और रुझानों का उपयोग करे।
  6. ट्रेंडिंग प्लेटफार्म का चुनाव : आप किसी अच्छे और भरोसेमंद SEBI Registered Brokers (Zerodha, Upstox, Angel One या Groww) का चयन करे। चयन करते समय प्लेटफार्म के ब्रोकर चार्जेस का ध्यान रखे।
  7. डेमो ट्रेडिंग : शुरूआती लोगो के लिए वर्चुअल ट्रेडिंग ऐप्स या डेमो अकाउंट पर अभ्यास करना फायदेमंद रहेगा क्यूंकि यहाँ आपको पैसे का नुकसान नहीं होता है।

शुरूआती लोगो को अनुशासन , धैर्य और निरंतर सिखने की जरुरत होती है। पहले सीखे , फिर छोटे छोटे ट्रेड करके निरंतर अभ्यास करे।

जैसे जैसे आपका अनुभव बढ़ेगा वैसे ही आप इसमें महारत हासिल कर लेंगे।

इंट्रा डे ट्रेडिंग के महत्वपूर्ण नियम (Intraday Trading Rules in Hindi for beginners)

Intra Day Trading के महत्वपूर्ण नियम निम्न है।

स्टॉक का चुनाव अधिक लिक्विडिटी वाले स्टॉक्स को चुने जिससे आपको खरीदने – बेचने में कोई समस्या म हो।
स्टॉप लॉस का प्रयोग अधिक नुकसान से बचने के लिए प्रत्येक ट्रेड में स्टॉप लॉस जरूर लगाए।
ऑटोमैटिक स्क्वेयर ऑफशेयर मार्केट बंद होने से पहले ही आप खुद स्टॉक को क्लोज करे। वरना आपका ब्रोकर्स automatic square off का प्रयोग कर सकता है।
सिमित निवेश उतनी ही पूंजी का निवेश करे जितना आप हानि होने पर आसानी से सहन कर सकते है।
नियमित समीक्षा अपनी ट्रेडिंग रणनीति और शेयर मार्केट का नियमित गहन समीक्षा करे।

SEBI के प्रमुख दिशा – निर्देश :

  • मार्जिन रूल्स : SEBI ने क्रमबद्ध तरीको से मार्जिन रूल्स को छोटा किया है। जिससे अधिकतम लीवरेज पर रोक लगायी जा सके।
  • पोजीशन लिमिट की निगरानी : सेबी ने NSE और BSE को निर्देशित किया है की वे दिनभर में कई बार पोजीशन लिमिट की निगरानी करे।
  • इंडेक्स डेरिवेटिव्स : सेबी ने इंडेक्स डेरिवेटिव्स का कॉन्ट्रैक्ट राशि बढाकर १५ लाख तक कर दिया है।
  • ऑप्शन प्रीमियम : ऑप्शन खरीदने से पहले प्रीमियम अग्रिम रूप से जमा करना अनिवार्य कर दिया गया है।
  • टैक्स : इंट्राडे ट्रेडिंग के मुनाफे को ‘Business Income’ के तहत टैक्स फाइल करना होता है, जिस पर स्लैब दर (30% तक) लागू होती है.
  • SEBI की निगरानी : निवेशक की सुरक्षा और बाजार में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए SEBI समय-समय पर नियमों को अपडेट करता रहता है।

इंट्राडे ट्रेडिंग की रणनीति (Intraday Trading Strategies)

यदि आप इंट्राडे ट्रेडिंग में सफल होना चाहते है तो आपको शेयर बाजार की गहन एवं विस्तृत जानकारी होना आवश्यक है। इसमें तकनीकी विश्लेषण और विभिन्न ट्रेडिंग रणनीतियों का प्रयोग आपके लिए फायदेमंद हो सकता है।

इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए महत्वपूर्ण रणनीतियां निम्न है :

  • Pivot Points : जब किसी स्टॉक की कीमत, अपनी पोजीशन (ऊपर या निचे जाने पर ) बदलती है तो उसे Pivot Points कहा जाता है।
  • Pivot High : जब स्टॉक अपनी अधिकतम पोजीशन पर होता है और वहां से निचे आना प्रारम्भ करता है।
  • Pivot Low : जब स्टॉक अपनी सबसे निचे की पोजीशन पर होता है और वहां से ऊपर उठना शुरू करता है।
  • सपोर्ट : यहाँ पर स्टॉक के कीमत निचे जाने की संभावना बहुत ही कम होती है। यहाँ ट्रेडर (खरीदने वाला) सबसे ज्यादा सक्रीय होते है जिससे स्टॉक के भाव में तेजी देखि जाती है।
  • रेजिस्टेंस : यह सपोर्ट का बिलकुल उल्टा होता है। इस बिंदु पर विक्रेता सबसे ज्यादा सक्रीय होते है जिससे स्टॉक के भाव के गिरने की संभावना प्रबल होती है।
  • ब्रेकआउट: यदि स्टॉक का भाव रेजिस्टेंस स्तर से ऊपर या सपोर्ट स्तर से जाता है तो इसे ब्रेकआउट माना जाता है।

उपरोक्त इंडीकेटर्स की हेल्प से ट्रेडर , शेयर मार्केट की स्थिति का बेहतर अनुमान लगा सकते है। अपने अनुभव और अनुमान के अनुसार आपने ट्रेडिंग रणनीति में बदलाव या सुधार कर सकते है।

intra Day में जोखिम से बचने के उपाय

Intraday trading में उच्च लाभ के साथ – साथ भारी नुकसान की भी जोखिम रहता है। इसीलिए सफल ट्रेडिंग और अपनी मेहनत की कमाई को बचाने के लिए जोखिम प्रबंधन बहुत ही जरुरी है।

Stop Loss : स्टॉप लॉस एक पूर्व निर्धारित हानि बिक्री मूल्य है, `जिसे आपको किसी निर्धारित मूल्य (मूल स्टॉक भाव से कम) पर सेट करना होता है। जब आपके स्टॉक के भाव में गिरावट आती है तो आपका स्टॉक स्वतः आपके निर्धारित मूल्य (Stop Loss) पर बिक जाता है।

स्टॉप लॉस का मुख्य उद्देश्य आपको भारी नुकसान (हानि) से बचाना है। उदाहरण : आप किसी स्टॉक को 200 में खरीदते है। अधिक नुकसान से बचने के लिए 190 पर आप स्टॉप लॉस आर्डर लगा देते है।

अब यदि आपके द्वारा ख़रीदे गए शेयर की कीमत गिरती है और गिरते-गिरते 190 तक पहुंच जाती है तो आपका शेयर स्वतः इस मूल्य पर स्टॉप लॉस आर्डर के कारण बिक जायेगा। इससे आप बड़े नुकसान से बच सकते है।

Target Price : टारगेट कीमत वह मूल्य है जिसपर कोई निवेशक किसी शेयर पर लाभ कमाने की लिए निर्धारित करता है। जब शेयर / स्टॉक का भाव निर्धारित राशि तक पहुँचता है तो वह स्वतः Target Price Order के कारण बिक जाता है।

टारगेट प्राइस आपके अनुमान और विश्लेषणों पर आधारित होता है। इसमें शेयर के भाव कहाँ तक बढ़ सकते है इसकी कल्पना ही की जाती है।

उदहारण : आपने कोई शेयर 300 में ख़रीदा। आपके अनुमान और विश्लेषण से आपको लगता है की इसका दाम 350 को पार कर सकता है। आपने अपने स्टॉक का टारगेट प्राइस आर्डर 350 निर्धारित कर दिया।

जैसे ही उस स्टॉक का मूल्य 350 पहुंचेगा वह स्वतः ही बिक जायेगा और आपको ५० का शुद्ध लाभ होगा।

इंट्राडे ट्रेडिंग में सामान्य गलतियाँ और उनसे कैसे बचे?

शेयर बाजार में आपके द्वारा की गयी छोटी से छोटी गलती भी आपको भारी नुकसान पंहुचा सकती है। ऐसे में एक शुरुवाती / कम अनुभवी ट्रेडर को इन्हे समझना और इन गलतियों से बचना बहुत ही महत्वपूर्ण होता है।

यदि आप एक सही प्लान और अनुशासन के साथ इन कमियों को दूर कर लेते है तो आप intraday trading से अच्छा लाभ प्राप्त कर सकते है।

सामान्य गलतियाँ इनसे बचाव
इमोशनल ट्रेडिंग ज्यादा लाभ के लालच , हानि की भरपाई की चिंता , आपकी ट्रेड को प्रभावित कर सकती है। इसीलिए जल्दबाजी या इमोशनल होकर ट्रेड न करे।
टॉप लॉस का प्रयोग नहीं करना टॉप लॉस आर्डर निर्धारित न करना आपके लिए बड़ी हानि का कारण बन सकता है। इसीलिए सदैव टॉप लॉस का प्रयोग करे।
अत्यधिक लीवरेज/ ओवर ट्रेडिंग करना अपनी क्षमता से ज्यादा जोखिम उठाना या बार – बार ट्रेड करना हमेशा नुकसानदायक होता है। इससे आपको ब्रोकरेज शुल्क भी ज्यादा देना पड़ता है।
बिना जानकारी/ प्लानिंग के ट्रेड करना यदि आप बिना किसी भी रिसर्च/प्लानिंग के कोई भी शेयर खरीदते है तो आपको घाटा उठाना भी पड़ सकता है।
एक ही दिन में ट्रेडिंग प्रक्रिया पूरी न करना इंट्राडे ट्रेडिंग में आपको एक ही दिन में पूरी ट्रेड (खरीदना – बेचना ) पूरी करनी होती है। ऐसा न करने पर ब्रोकर स्वतः ऑटोमैटिक स्क्वेयर ऑफ का प्रयोग कर सकता है।
अफवाहों/कल्पना पर ट्रेड करना कभी भी अफवाह/ कल्पना (जैसे – इस कम्पनी का शेयर आज काफी ऊपर जायेगा) पर ट्रेड नहीं करनी चाहिए। किसी भी शेयर को खरीदने से पहले प्रॉपर रिसर्च करना चाहिए।
नुकसान की भरपाई के लिए ज्यादा इन्वेस्ट करना यदि आपको किसी दिन कुछ हानि हो जाती है तो अगली बार उस हानि को पूरा करने के लिए अधिक से अधिक पैसा इन्वेस्ट करके उस हानि की भरपाई नहीं करना चाहिए।
अनिश्चित बाजार में ट्रेड करना जब आपको शेयर मार्केट अनिश्चित लगे अर्थात भाव कभी भी ऊपर निचे हो रहा हो तो नए लोगो को ट्रेड करने से बचना चाहिए
Trading Journal न रखना ट्रेडिंग जर्नल आपके ट्रेडिंग गतिविधियों का विस्तृत रिकॉर्ड होता है। इससे आपकी कमियों या कौशल का पता चलता है।

इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए सही ब्रोकर और प्लेटफार्म का चुनाव (Best Intraday Trading App In Hindi)

best intraday trading app

intra day trading में कामयाब होने के लिए एक भरोसेमंद ब्रोकरेज और यह फ़ास्ट एवं विश्वसनीय ट्रेडिंग प्लेटफार्म का होना आवश्यक है।

इसलिए हमेशा ऐसे प्लेटफॉर्म/ऐप का चयन करें जो तेज़, सुरक्षित और आसान हो, और जो आपके ट्रेडिंग स्टाइल को सपोर्ट करे। किसी भी ब्रोकर का चुनाव करते समय निम्न मानदंडों का पालन करे।

  • विश्वसनीय : हमेशा ऐसे Brokers का चयन करे जो SEBI Registered हो और वर्षो से शेयर बाजार में कायम हो।
  • रियल टाइम डाटा और हाई प्रोसेसिंग : इसमें हर पल स्टॉक का भाव बदलता रहता है अतः आपको ऐसे Brokers का चयन करना चाहिए जो पल पल का रियल डाटा देता हो। जो आपके प्रत्येक आर्डर को तेजी से प्रोसेस करे।
  • कम ब्रोकरेज शुल्क : बार बार ट्रेडिंग करने से प्रोसेसिंग फीस भी बढ़ जाता है। ऐसे में आपको ऐसे Brokers का चयन करना चाहिए जिसमे प्रोसेसिंग फीस न्यूनतम हो।
  • अच्छा कस्टमर सपोर्ट : किसी भी टेक्निकल प्रॉब्लम /असुबिधा के समाधान के लिए ऐसे ब्रोकर का चुनाव करे जो आपको तुरंत ही कस्टमर सपोर्ट उपलब्ध कराता हो।
  • मार्जिन / लीवरेज सुविधा : कई ब्रोकर्स अपने ग्राहकों को एक्स्ट्रा मार्जिन / लीवरेज की सुविधा भी प्रदान करते है।
  • आसान ऐप या वेबसाइट : आपको ऐसे ऐप/वेबसाइट का प्रयोग करना चाहिए जो यूजर फ्रेंडली हो। जिसे आप आसानी से समझ और प्रयोग कर सके।
  • डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट : भारत में अक्सर सभी ब्रोकर्स एक ही स्थान पर डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट ओपन करने की सुविधा प्रदान करते है। फिर भी आपको अपने ब्रोकर्स में यह सुविधा एक बार अवशय चेक कर लेनी चाहिए।

Best Intraday Trading App / Platform :

भारत में सेबी द्वारा मान्यता प्राप्त ब्रोकरेज कम्पनी (App/ Platform) जो भारत में इंट्राडे ट्रेडिंग की सुबिधा प्रदान करते है , निम्न है :

  1. Bajaj Finserv
  2. Alice Blue
  3. 5paisa
  4. Angel One
  5. Groww
  6. Uptox
  7. Zerodha Kite
  8. ICICI Direct
  9. BlinkX
  10. Sharekhan
  11. Paytm Money
  12. FYERS
  13. Edelweiss

उपरोक्त में से किसी भी ब्रोकर्स कंपनी का चुनाव सावधानी से करे। चुनाव करने से पहले गहन अध्ययन और रिसर्च जरूर करे।

इंट्राडे ट्रेडिंग कैसे सीखें (intra Day सिखने के संसाधन)

इंट्राडे ट्रेडिंग में सफल होने के लिए इसकी तकनिकी और शेयर बाजार में शेयरो के मूल्य में उतार -चढाव की गहरी समझ होना बहुत जरूरी होता है।

इसे सिखने के लिए आप प्रमुख संसाधनों का प्रयोग कर सकते है।

Online Course : वर्तमान समय में कई वेबसाइट/ प्लेटफॉर्म पर, इंट्राडे ट्रेडिंग सिखाने के कई फ्री और पेड कोर्स उपलब्ध है। जहाँ आप इसे शुरुवात से लेकर एडवांस लेवल तक सिख सकते है। जैसे – Trendy Traders Academy, Upstox Learning Academy etc

YouTube : यहाँ आप फ्री में इसे सिख सकते है। यूट्यूब पर इससे सम्बंधित हजारो वीडियो उपलब्ध है जिसकी मदद से आप अपनी ट्रेडिंग को और भी बेहतर बना सकते है।

e-Books और किताबे : आधुनिक समय में आपको कई e-books और किताबे (हिंदी और अंग्रेजी) फ्री या बहुत ही कम कीमत पर आसानी से मिल जाएगी। जिसकी हेल्प से आप ट्रेडिंग की तकनिकी , रणनीति , और जोखिम प्रबंधन की योजना बना सकते है।

Blog या online Article : अपनी जरुरत के अनुसार आप गूगल में सर्च करके ब्लॉग या ऑनलाइन आर्टिकल भी पढ़ सकते है। यहाँ आपको नियमित अपडेट और शेयर बाजार से जुडी सभी न्यूज़ भी मिल जाएगी।

Artificial intelligence (AI) : वर्तमान समय में किसी भी प्रकार की समस्या होने पर आप ai की मदद भी ले सकते है। जैसे – ChatGPT, Deepseek, Gemini etc

Intraday Trading FAQ’s:

शुरूआती ट्रेडर्स के लिए शुरू में इंट्रा डे ट्रेडिंग को समझना थोड़ा मुश्किल कार्य होता है। नए ट्रेडर्स के मन में अक्सर इसे लेकर कई सवाल होते है।

जैसे – Day Trading क्या है ? ट्रेडिंग करते समय किन बातो का ध्यान रखना चाहिए ? बेस्ट स्टॉक्स कौन से है और उन्हें खरीदने का सही समय क्या होता है ?

ऐसे ही कई महत्वपूर्ण प्रश्नो के जवाब के लिए निम्न FAQs जरूर पढ़े।

ट्रेडिंग क्या है (Trading kya hota hai)

ट्रेडिंग , Share Market में शेयर/स्टॉक्स को खरीदने एवं बेचने की प्रक्रिया को कहते है। इसका प्रमुख उद्देश्य शेयर के मूल्य में होने वाले उतार / चढाव से लाभ प्राप्त करना होता है।

intraday trading meaning in hindi

IntraDay शब्द दो अंग्रेजी शब्दों : Intra -अंदर / भीतर + Day – दिन से मिलकर बना होता है। जिसका अर्थ दिन के भीतर होता है जबकि Trading का अर्थ शेयर को खरीदना एवं बेचना होता है ।

अर्थात intraday trading का तात्पर्य शेयर बाजार में एक ही दिन में शेयरो के खरीदने और बेचने से है। इसमें ट्रेडिंग को उसी दिन में पूरी करनी होती है।

Best time for intraday Trading (इंट्राडे में शेयर खरीदने का सही समय क्या है)

भारतीय शेयर बाजार में Intraday Trading का आधिकारिक समय सुबह ०९ : १५ बजे से दोपहर ०३ :३० बजे तक होता है। हालांकि शेयर बाजार में शेयर या स्टॉक का भाव हर पल बदलता रहता है लेकिन एक्सपर्ट के अनुसार सुबह ०९ : ३० से ११ : ०० बजे तक का समय बेहतर माना जाता है।

सुबह शेयर बाजार खुलते ही बाजार में वोलैटिलिटी ज्यादा होती है इसीलिए इस समय को ट्रेड करने के लिए सबसे बेहतर माना जाता है।

Best Share / Stocks for intraday Trading​ (इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए बेस्ट स्टॉक)

इंट्राडे ट्रेडिंग में वे स्टॉक्स / शेयर अच्छे माने जाते है जिनमे हाई वॉल्यूम , उच्च लिक्विडिटी और अच्छी वोलैटिलिटी हो।

सामान्यतः ब्लूचिप स्टॉक्स , निफ़्टी -50 और बैंक निफ़्टी से जुड़े स्टॉक्स/शेयर जैसे – Reliance, HDFC Bank, ICICI Bank, Tata Motors, Infosys , SBI, TCS आदि के शेयर इसके लिए अच्छे माने जाते है।

ट्रेडर्स को किसी भी स्टॉक या शेयर में निवेश करने से पहले उसकी पूरी जानकारी और रिसर्च जरूर जार ले।

best book for intraday trading​ (इंट्राडे ट्रेडिंग सिखने के लिए टॉप किताबे )

शुरुआती लोगों के लिए इंट्राडे ट्रेडिंग बेसिक से एडवांस तक सिखने के लिए बेस्ट बुक की सूची निम्न है। जिसकी मदद से आप इसकी स्ट्रेटजी, चार्ट , टिप्स , एवं इसकी समूर्ण जानकारी प्राप्त कर सकते है।

  • How to make money in Intraday Trading – Ashwani Gujral & Rachana A Vaidya
  • How to day trade for a living – Andrew Aziz
  • Mastering the Trade – John Carter
  • High Probability Trading – Marcel Link
  • The disciplined Trader- Mark Douglas

intraday trading charges​/Tax (इंट्राडे में कितना चार्ज लगता है)

इंट्रा डे trading करते समय Trader पर ब्रोकर और सरकार द्वारा कई प्रकार के Charge और Tax लगाए जाते है। जो निम्न होते है :

  • Brokerage (ब्रोकर का कमीशन) : ०.०१% प्रति ट्रेड
  • Securities Transaction Tax : ०.025% on sell side
  • Exchange Transaction Charges : 0.0034% (NSE/BSE Charge)
  • GST : 18%
  • SEBI Charges : एक करोड़ पर १० रुपये
  • Stamp Duty : ०.००३ % (अलग अलग राज्यों में अलग हो सकता है )

इंट्रा Day Trading में लगने वाले चार्ज और टैक्स समय – समय पर बदलते रहते है। इसीलिए नवीनतम और सटीक जानकारी के लिए हमेशा अपने ब्रोकर की वेबसाइट या आधिकारिक शेयर बाजार स्त्रोत से अपडेटेड जानकारी जरूर ले।

conclusion :

उपरोक्त लेख में हमने इंट्राडे ट्रेडिंग क्या है ? (Intraday Trading in Hindi for Beginners), इसे कैसे करे, इसके जरुरी नियम , टिप्स और इससे होने वाले फायदे एवं नुकसान को विस्तार से जाना।

इसके साथ ही हमने Best Intraday Trading App Platform, उपयोगी किताबे और ट्रेडिंग में लगने वाले टैक्स और चार्जेस की पूरी विस्तृत एवं विश्वसनीय जानकारी प्राप्त की।

यदि आप ट्रेडिंग में नए है या हाल ही में ट्रेड करना शुरू किया है तो आपको शेयर बाजार से जुडी सही जानकारी एवं रणनीति का होना आवशयक है। किसी भी निवेश से पहले उसकी पूरी रिसर्च जरूर करे।

अनुभवी विशेषज्ञों से सलाह जरूर ले। किसी भी प्रकार की जानकारी के लिए SEBI की आधिकारिक गाइडलाइन को जरूर पढ़े।

यदि आपके मन में Intraday Trading से जुड़ा कोई प्रश्न हो या आप किसी विशेष विषय पर गाइड चाहते है तो आप हमसे तुरंत Contact कर सकते है। आपकी सहायता करना हमारी प्राथमिकता है।

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